Mpnews:मऊगंज में 8 साल की मासूम के साथ हैवानियत, गेहूं बीज लेने गई बच्ची को कमरे में खींचकर किया रेप, पुलिस ने 24 घंटे में आरोपी को दबोचा
Mpnews: छोटी सी उम्र में ही जिंदगी की कड़वी सच्चाई से रूबरू हो गई एक आठ वर्षीय बालिका। गांव के ही भरोसेमंद समझे जाने वाले पड़ोसी ओम प्रकाश तिवारी ने मासूमियत का फायदा उठाते हुए उसे अपने घर में अकेला पाकर घिनौनी वारदात को अंजाम दिया। घटना मंगलवार सुबह की है, लेकिन डर और सदमे के चलते पीड़िता ने अगले दिन तक मुंह नहीं खोला। जैसे ही मां को भनक लगी, परिजनों ने तुरंत पुलिस का दरवाजा खटखटाया। थाना प्रभारी संदीप भारती की अगुवाई में गठित टीम ने गुरुवार को आरोपी को धर दबोचा। एसपी दिलीप सोनी ने पुष्टि की कि मामला गंभीर है और हर पहलू की बारीकी से जांच की जा रही है।
पीड़िता की मां ने पुलिस को जो दर्दभरी दास्तां सुनाई, वह दिल दहला देने वाली है। मंगलवार को सुबह करीब साढ़े आठ बजे उन्होंने बेटी को गेहूं का बीज लेने ओम प्रकाश तिवारी के घर भेजा। बच्ची दो घंटे बाद बीज लेकर लौटी, लेकिन चेहरे पर उदासी और आंखों में आंसू थे। मां को कुछ अटपटा लगा, मगर बच्ची ने चुप्पी साध ली। अगले दिन बुधवार को जब मां खुद खाद लेने की बात करने लगीं, तो मासूम फफक पड़ी। रोते-रोते उसने खुलासा किया कि तिवारी ने उसे कमरे में खींचकर जबरन शारीरिक शोषण किया। डर के मारे उसने घर आकर कुछ नहीं बताया था।
घटना की गंभीरता को समझते हुए मां ने फौरन पति को फोन पर पूरी बात बताई। दोनों पति-पत्नी बेटी को लेकर मऊगंज थाने पहुंचे और लिखित शिकायत दर्ज कराई। थाना प्रभारी संदीप भारती ने तुरंत एफआईआर कायम की और वरिष्ठ अधिकारियों को अवगत कराया। निर्देश मिलते ही दो विशेष टीमें गठित हुईं। टीमों ने गुरुवार को आरोपी ओम प्रकाश तिवारी को गिरफ्तार कर लिया। पीड़िता के बयान कलमबंद कर लिए गए हैं और मेडिकल जांच भी पूरी कर ली गई है।
Mpnews: पुलिस अधीक्षक दिलीप सोनी ने कहा, “नाबालिग के साथ ऐसी वारदात कतई बर्दाश्त नहीं की जाएगी। एफआईआर दर्ज होने के फौरन बाद टीम ने आरोपी को पकड़ा। वैधानिक कार्रवाई के साथ-साथ पूरे मामले की गहन जांच चल रही है। दोषी को किसी सूरत बख्शा नहीं जाएगा।” परिजनों को सुरक्षा का भरोसा दिलाते हुए पुलिस ने गांव में अतिरिक्त गश्त बढ़ा दी है।
यह घटना एक बार फिर समाज को झकझोर रही है कि बच्चों की सुरक्षा सबसे बड़ी जिम्मेदारी है। पड़ोसियों पर भरोसा तो ठीक, लेकिन सतर्कता जरूरी है। पीड़िता को काउंसलिंग और कानूनी सहायता मुहैया कराई जा रही है। मामला पॉक्सो एक्ट के तहत दर्ज किया गया है, जिसमें उम्रकैद तक की सजा का प्रावधान है।
