Sidhi news:संविदा कर्मचारियों की सेवा समाप्ति पर बवाल, संयुक्त संघर्ष मंच ने कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन, नियम विरुद्ध कार्रवाई का आरोप
Sidhi news:सीधी जिले में संविदा कर्मचारियों की सेवा समाप्ति को लेकर बड़ा विवाद खड़ा हो गया है। जिला पंचायत सीधी के मुख्य कार्यपालन अधिकारी द्वारा जारी सेवा समाप्ति आदेशों के विरोध में संविदा संयुक्त संघर्ष मंच मध्य प्रदेश (भारतीय मजदूर संघ संबद्ध) ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपते हुए कार्रवाई को तत्काल निरस्त करने की मांग की है। संगठन ने इसे नियमों की अनदेखी, नैसर्गिक न्याय के विरुद्ध और मानवाधिकारों का हनन बताया है।
ज्ञापन में बताया गया कि सुनील शर्मा, अतिरिक्त कार्यक्रम अधिकारी जनपद पंचायत रामपुर नैकिन, विनोद कुमार तिवारी, ग्राम रोजगार सहायक ग्राम पंचायत डमक तथा रामायण प्रसाद पटेल, ग्राम रोजगार सहायक ग्राम पंचायत बढ़ागांव जनपद पंचायत सिहावल की संविदा सेवाएं समाप्त कर दी गई हैं। आरोप है कि इन आदेशों में मध्य प्रदेश शासन सामान्य प्रशासन विभाग के पत्र दिनांक 22 जुलाई 2003 के बिंदु क्रमांक 09 एवं राज्य रोजगार गारंटी परिषद भोपाल के पत्र दिनांक 15 अक्टूबर 2025 के निर्देशों की अनदेखी की गई है।
Sidhi news:संघ का कहना है कि बिना समुचित सुनवाई और पक्ष रखने का अवसर दिए एकतरफा कार्रवाई की गई, जिससे समस्त संविदा कर्मचारियों में भय और असुरक्षा का माहौल बन गया है। सेवा समाप्ति से प्रभावित कर्मचारियों के परिवारों के सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है।
इस मामले में आवेदक सुनील शर्मा ने बताया कि उन्हें केवल नोटिस देकर जल्दबाजी में सेवा से हटा दिया गया, जबकि कार्य प्रगति में अन्य जिम्मेदार अधिकारी-कर्मचारी भी शामिल थे। उन्होंने आरोप लगाया कि द्वेषपूर्ण भावना से केवल उन्हें ही निशाना बनाया गया और अपना पक्ष रखने तक का अवसर नहीं दिया गया, जो स्पष्ट रूप से नियम विरुद्ध है।
वहीं संघ के पदाधिकारी आजाद सिंह ने कहा कि सिहावल जनपद पंचायत के दो रोजगार सहायकों और रामपुर नैकिन के अतिरिक्त कार्यक्रम अधिकारी की सेवा समाप्ति अत्यंत अन्यायपूर्ण है। संगठन ने चेतावनी दी है कि यदि आदेश निरस्त कर संविदा बहाल नहीं की गई तो सभी विभागों के संविदा कर्मचारी क्रमिक आंदोलन के लिए बाध्य होंगे।
इस संबंध में जब अतिरिक्त मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत सीधी धनंजय मिश्रा से बात की गई तो उन्होंने बताया कि मुख्य कार्यपालन अधिकारी अवकाश पर हैं। उन्हें मामले की पूरी जानकारी नहीं है, लेकिन प्रकरण देखने के बाद जो उचित होगा, उस पर कार्रवाई की जाएगी।
