Sidhi news:ठंड से जंग लड़ रहे गरीब विद्यार्थी, नहीं दिए जा रहे गर्म कपड़े
Sidhi news:शासकीय शालाओं में ज्यादातर गरीब विद्यार्थी पढ़ते हैं। इनकी पढ़ाई के लिए शासन ने कॉपी किताब से लेकर ड्रेस, मध्यान्ह भोजन तक का प्रबंध किया है, जिससे गरीब से गरीब बच्चा शिक्षित हो जाए, लेकिन बच्चों को ठंड से बचाने के लिए गर्म कपड़ों का इंतजाम नहीं किया गया है। बच्चे ठंड से जंग लड़ रहे हैं। इससे बच्चों की पढ़ाई पर और शाला में उपस्थिति पर असर पड़ रहा है। इस तरफ जिम्मेदारों का ध्यान नहीं जा रहा है।
मददगारों पर निर्भर विद्यार्थी
ठंड से बचाव के लिए शासकीय शालाओं के बच्चों को सरकारी मदद नहीं मिल रही है। विद्यार्थी पूरी तरह मददगारों व स्वयंसेवी संस्थाओं पर निर्भर हैं। कुछ स्कूलों में मददगारों ने विद्यार्थियों को गर्म कपड़े वितरित किए हैं, लेकिन सैकड़ों शालाओं में पढ़ने वाले हजारों बच्चों के पास आज भी गर्म कपड़े नहीं है। वे बिना गर्म कपड़ों के ही स्कूलों में बैठ रहे हैं।
फटे पुराने गर्म कपड़े पहनकर पहुँच रहे स्कूल
Sidhi news:निजी स्कूलों में ठंड के समय विद्यार्थियों के लिए एक कलर के गर्म कपड़े पहनकर आने के निर्देश है। वहाँ सभी बच्चे इसका पालन करते हैं। वहीं शालाओं में गरीब विद्यार्थियों को गर्म कपड़े न मिलने के कारण वे रंग- बिरंगे, फटे-पुराने गर्म स्वेटर पहनकर पहुँच रहे हैं। अधिक ठंड पड़ने के कारण तो कुछ स्कूलों में बच्चों ने आना ही बंद कर दिया है।
ठंड से बचाने कोई प्रावधान नहीं
Sidhi news:शासकीय शालाओं में पढ़ने वाले विद्यार्थियों के लिए शासन द्वारा कॉपी-किताब, साइकिल, ड्रेस, मध्यान्ह भोजन आदि की सुविधा प्रदान की जा रही है, लेकिन बच्चों को ठंड से बचाने के लिए कोई इंतजाम नहीं किया गया है। सरकारी स्कूलों में बड़ी संख्या में गरीब बच्चेपढते हैं। इनके लिए गर्म कपड़ों का इंतजाम किया जाना चाहिए, जिससे ठंड में बच्चों को किसी भी प्रकार प्रायमरी स्कूल-1010 मीडिल स्कूल-419की कोई दिक्कत न हो। उनकी पढ़ाई भी प्रभावित न हो।
पढ़ाई का नुकसान, सेहत को खतरा
Sidhi news:जिन गरीब बच्चों के पास गर्म कपड़े नहीं हैं, वे बच्चे शालाओं में नहीं पहुंच रहे हैं। इससे उनकी पढ़ाई का नुकसान हो रहा है। बच्चों के बीमार पड़ने का भी खतरा बना हुआ है। ठंड लगने से बच्चों को सर्दी, खाँसी, बुखार व निमोनिया जैसी गंभीर बीमारियाँ हो सकती हैं। लंबे समय तक ठंड सहने के कारण बच्चों की रोग प्रतिरोधक क्षमता भी कमजोर हो सकती है, जिससे अन्य संक्रामक रोग होने का खतरा बढ़ जाता है।
अधिकारी, जनप्रतिनिधि मौन
Sidhi news:जिले भर में 1400 से अधिक प्रायमरी और माध्यमिक शाला हैं, जिनमें 50 हजार से ज्यादा विद्यार्थी पढ़ते हैं। इनमें कई विद्यार्थियों के पास अच्छे व गर्म कपड़े नहीं है। इसकी जानकारी शिक्षा विभाग और यहाँ के जनप्रतिनिधियों को भी है। इसके बाद भी वे गरीब बच्चों की अनदेखी कर रहे हैं। सरकारी मद से गर्म कपड़ों की व्यवस्था नहीं करा पा रहे हैं।
समय पर ड्रेस भी नहीं मिलती
Sidhi news:सरकारी शालाओं के बच्चों को ड्रेस भी समय पर नहीं दी जाती है। हर साल शिक्षण सत्र शुरू होने के कई माह बाद ड्रेस दी जाती है। यही हाल साइकिल का है। आधा सत्र बीतने पर साइकिल दी जाती है, जिससे बच्चे कई माह पैदल जाते हैं।