Bandhavghar: एक बाघ की हुई मौत, प्रशासन ने कहां आपस में हुई थी लड़ाई
उमरिया तपस गुप्ता
Bandhavghar: उमरिया जिले में जैसे-जैसे बाघो की संख्या बढ़ रही है वैसे ही बाघों की संख्या घट भी रही है। अक्सर ऐसा देखा गया है कि बाघो की मौत हो रही है लेकिन उसके बाद प्रशासन उसे पर कार्यवाही नहीं कर रहा है। बल्कि उसे आपसी द्वन्द बता दे रहा है। हालांकि इसमें कितनी सच्चाई है और कितनी नहीं इस बात की पुष्टि नहीं हुई है।
Bandhavghar: दरअसल पूरा मामला उमरिया जिले की बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व क्षेत्र अंतर्गत वन परिक्षेत्र के पनपथा बफर के बीट खितौली के कक्ष क्रमांक आर एफ 501 का है जहां एक मादा बाघ का शव देखा गया है जिसकी उम्र लगभग 1 साल है। इसके बाद पूरे वन परिक्षेत्र में दहशत का माहौल देखा गया इसकी सूचना तुरंत ही वन परी क्षेत्र अधिकारी को दी गई। जहां वन पर क्षेत्राधिकारी ने मौके पर टीम भेज कर जांच शुरू कर दी।
Bandhavghar: दर्शन यह पूरी घटना 8 जनवरी की है जहां पर गस्ती के दौरान मौके पर वन विभाग की टीम को सूचना मिली थी कि एक सावक की मौत हो गई है। फिलहाल प्रथम दृष्टि या मृत्यु का कारण दो बाघों का आपसी संघर्ष होना पाया गया है अब इसमें सच्चाई कितनी है और कितनी नहीं इस बात की जानकारी अभी नहीं लग पाई है।
Bandhavghar: मौके पर आसपास जांच कराएगी एवं एन.टी. सी.ए. की गाईड की गाइडलाइन के अनुसार पश्चि चिकित्सा एवं वन विभाग की टीम के प्रतिनिधि राजस्व विभाग के प्रतिनिधि एवं जनप्रतिनिधियों की उपस्थिति में शव का परीक्षण कराया गया जिसमें सैंपल दिनांक 8/ 1/ 2025 को ही ले लिए गए। इसके बाद उन सैंपल को प्रयोगशाला में भेज दिया गया है और बाघ का दाह संस्कार कर दिया गया है।